राफेल डील : मोदी हैं अपराधी, उन्होंने सेना के हर नियम की धज्जियां उड़ाते हुए देश की राष्ट्रीय सुरक्षा के साथ समझौता किया
Press Conference on the #RafaleScam addressed by Arun Shourie, Yashwant Sinha & Prashant Bhushan
नई दिल्ली, 12 सितंबर। राफेल विमान सौदे में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की व्यक्तिगत संलिप्तता का आरोप लगाते हुए भारतीय जनता पार्टी के पूर्व नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्रीगण अरुण शौरी व यशवंत सिन्हा तथा वरिष्ठ अधिवक्ता प्रशांत भूषण ने आरोप लगाया है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सेना के हर नियम की धज्जियां उड़ाते हुए देश की राष्ट्रीय सुरक्षा के साथ समझौता किया है।
राजधानी में कल एक संयुक्त प्रेस कांफ्रेंस में तीनों नेताओं ने प्रधानमंत्री को घेरा।
राफेल डील पर यशवंत सिन्हा और अरुण शौरी ने कहा कि मोदी ने अप्रैल 2015 में अचानक घोषणा करने से पहले भारतीय वायु सेना, रक्षा मंत्रालय और विदेश मंत्रालय को अंधेरे में अंधेरे में रखा था।
संवाददाताओं से बात करते हुए सिन्हा व शौरी ने कहा कि देश ने देखा कि किस तरह देश के सबसे बड़े रक्षा घोटाले में मोदी के अपराध को छिपाने के लिए झूठ का जाल बुना गया।
दोनों ने मोदी सरकार व सत्तारूढ़ भाजपा द्वारा डील और मोदी के बचाव में दिए जा रहे तर्कों को सिरे से खारिज करते हुए इन्हें सफेद झूठ करार दिया और कहा कि मोदी ने अपने क्रोनी पूंजीपतियों को अनुचित लाभ दिलाने के लिए अनुचित रूप से मूल सौदे को रद्द कर दिया।
शौरी व सिन्हा ने अधिवक्ता प्रशांत भूषण के साथ कहा कि एचएएल को खारिज करके निजी कंपनी को ऑफसेट पार्टनर बनाने का निर्णय मोदी ने स्वयं लिया था।
शौरी ने पूछा, सवाल यह है कि प्रति विमान 670 करोड़ रुपये की कीमत कैसे 1,670 करोड़ रुपये तक पहुंच गई। सरकार गोपनीयता खंड के पीछे तथ्यों को छुपा रही है। यदि यह गोपनीय है, तो कैसे (पूर्व रक्षा मंत्री) मनोहर पर्रिकर और फिर (रक्षा राज्य मंत्री) सुभाष भामरे ने विमानों की कीमत उद्धृत की थी, "।
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