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लॉकडाउन बाद की रणनीति पर सोनिया ने केंद्र से पूछे सवाल, 17 के बाद क्या ?

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hastakshep
06 May 2020
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भारत बचाओ रैली : सोनिया गांधी बोलीं - मोदी-शाह ने संविधान की धज्जियां उड़ाई, कैब से तार-तार हुई भारत की आत्मा

Congress President Smt. Sonia Gandhi holds a meeting with Congress Chief Ministers to review how States are tackling COVID19 & the lockdown and assess their needs.

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नई दिल्ली, 6 मई 2020. कांग्रेस की अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी ने बुधवार को कांग्रेस शासित राज्यों के मुख्यमंत्रियों के साथ बैठक के दौरान सवाल किया कि 17 मई तक के राष्ट्रव्यापी बंद के बाद इससे बाहर निकलने की क्या रणनीति है।

कांग्रेस अध्यक्षा ने बैठक के दौरान कहा, 17 मई के बाद क्या? और 17 मई के बाद कैसे? कब तक लॉकडाउन जारी रखना है, इसका पता करने के लिए भारत सरकार कौन-सा मापदंड अपना रही है।

इस दौरान पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने यह सवाल उठाया कि सरकार लॉकडाउन समाप्त होने के बाद क्या करने जा रही है। उन्होंने कहा, हमें यह जानने की जरूरत है, जैसा कि सोनिया जी ने कहा है, लॉकडाउन 3.0 के बाद क्या होगा?

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सबसे पहले अपनी बात रखते हुए राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने प्रोत्साहन पैकेज की मांग उठाई। गहलोत ने कहा, जब तक व्यापक प्रोत्साहन पैकेज नहीं दिया जाता है, तब तक राज्य और देश कैसे चलेंगे? हमने 10,000 करोड़ रुपये का राजस्व गंवा दिया है। राज्यों ने एक पैकेज के लिए प्रधानमंत्री से बार-बार अनुरोध किया है, लेकिन हमें अभी तक सरकार से कोई जवाब नहीं मिला है।

सोनिया गांधी के साथ कांग्रेस शासित राज्यों के मुख्यमंत्रियों की बैठक बुधवार सुबह शुरू हुई और बैठक में मनमोहन सिंह और राहुल गांधी भी उपस्थित रहे।

Bhupesh Baghel. (File Photo: IANS) कांग्रेस अध्यक्ष के साथ मुख्यमंत्रियों की बैठक में मुख्यमंत्रियों ने आश्वासन दिया कि उन्होंने प्रवासी श्रमिकों की यात्रा के लिए भुगतान करने का फैसला किया है और रेलवे को विशेष गाड़ियां चलाने के लिए कहा है।

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पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने सूचित किया कि रेलवे प्रति टिकट  ₹870 चार्ज कर रहा है, जिसे राज्य सरकार भुगतान कर रही है, इसके लिए  ₹35 करोड़ अलग रखा गया है।

छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा कि “राज्य गंभीर आर्थिक संकट का सामना कर रहे हैं। उन्हें तत्काल सहायता प्रदान करने की आवश्यकता है। ”

उन्होंने कहा कि "छत्तीसगढ़ एक ऐसा राज्य है जहाँ 80% लघु उद्योग फिर से शुरू हो गए हैं और लगभग 85,000 श्रमिक काम पर लौट आए हैं।"

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