Advertisment

डॉ. अम्बेडकर ने संविधान में महिलाओं को बराबरी का अधिकार दिया था और संघ ने उसका भी विरोध किया था

author-image
hastakshep
07 Dec 2018
बिजली के दामों में बढ़ोत्तरी आम जनता को तबाह कर देगी: राज्य सरकार तत्काल वापस ले—भाकपा

डॉ. अम्बेडकर ने संविधान में महिलाओं को बराबरी का अधिकार दिया था और संघ ने उसका भी विरोध किया था

Advertisment

बदायूँ, 06 दिसंबर।  भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (Communist Party of India) के राष्ट्रीय सचिव भाल चंद कांगो ने आज यहाँ लोकसंघर्ष पत्रिका नवम्बर विधि विशेषांक का विमोचन डेल्टा कोठी में किया।

इस अवसर पर डॉ. भीमराव अम्बेडकर के परिनिर्वाण दिवस के अवसर पर 'संविधान. लोकतंत्र एवं धर्मनिरपेक्षता के समक्ष चुनौतियां' विषय पर बोलते हुए डॉ कांगो ने कहा कि अम्बेडकर साहब व्यक्ति का जाति के आधार पर नहीं कर्म के आधार पर मूल्यांकन किया जाना चाहिए।

संघ परिवार भारतीय संविधान को समाप्त करने की कोशिश कर रहा है, वहीं वामपंथी और धर्मनिरपेक्ष ताकतें संविधान को बचाए रखने की लड़ाई लड़ रहे हैं।

Advertisment

आजादी की लड़ाई में संघ का कोई योगदान नहीं था।

डां अम्बेडकर ने संविधान में महिलाओं को बराबरी का अधिकार दिया था और संघ उसका भी विरोध किया था।

मंडल कमीशन की रिपोर्ट को लागू करने का विरोध हिन्दुत्ववादी शक्तियों ने किया था।

Advertisment

लोकतंत्र बचाए रखने के लिए संविधान और स्वतंत्र न्यायपालिका होने की आवश्यकता होती है। डॉ. अम्बेडकर ने इस कार्य को किया था, किन्तु सत्तारूढ़ दल संविधान और उच्चतम न्यायालय को समाप्त कर देने प्रयास किया जा रहा है।

इस अवसर पर भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी के प्रदेश सचिव डॉ गिरीश, राज्य सह सचिव अरविन्द राजस्वरूप, निशां राठौर, मीनाक्षी, लोकसंघर्ष पत्रिका के सम्पादक ब्रज मोहन वर्मा, प्रबंध सम्पादक रणधीर सिंह सुमन, किसान सभा के अध्यक्ष विनय कुमार सिंह, प्रवीण कुमार, बदायूं के जिला सचिव रघुराज सिंह, अजय सिंह आदि प्रमुख नेता मौजूद थे।

पार्टी द्वारा प्रदेश के नेतृत्व वर्ग का चार दिवसीय प्रशिक्षण शिविर बदायूं में आयोजित किया है।

Advertisment

क्या यह ख़बर/ लेख आपको पसंद आया ? कृपया कमेंट बॉक्स में कमेंट भी करें और शेयर भी करें ताकि ज्यादा लोगों तक बात पहुंचे





Advertisment
सदस्यता लें