देश में कोरोना महामारी फैलने के दूसरे चरण तक मोदी सरकार द्वारा उससे निपटने के प्रयासों की राहुल गांधी ने जहां न केवल कई बार आलोचना की, बल्कि इस महामारी से निपटने के लिए सरकार को कई महत्वपूर्ण सुझाव भी दिए. इस सुझाव में उनकी चिंताओं का केंद्र आम आदमी और इस देश की बदहाल स्वास्थ्य व्यवस्था को बेहतर …
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जुगनुओं को कैद करता तानाशाह : यही है संघी-भाजपाई “राष्ट्रवाद” – जो शुरू से ही इतना ही फर्जी है
इस बार 21-22 वर्ष की दिशा रवि को बिना किसी तरीके की सुनवाई के सीधे 5 दिन की पुलिस हिरासत में भेज दिया गया। दिशा पर देशद्रोह, राष्ट्र के खिलाफ बगावत और न जाने कैसे-कैसे संगीन आरोप मढ़े गए हैं, अभी और कुछ आरोप गढ़े जाएंगे। कारपोरेट नियंत्रित मोदी मीडिया उन्हें और भी नमक-मिर्च लगाकर दोहरायेगा और पेड़,पौधे, नदी, पहाड़, …
Read More »आरएसएस-भाजपा के अधिनायकवादी प्रोजेक्ट पर अखिलेन्द्र प्रताप सिंह का महत्वपूर्ण लेख
Akhilendra Pratap Singh Article on Political Platform राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ और भाजपा के अधिनायकवादी प्रोजेक्ट (Totalitarian project of Rashtriya Swayamsevak Sangh and BJP) के विरुद्ध व्यापक आंदोलन के साथ ही समाज के राजनीतिकरण (Politicization of society) पर सर्वाधिक जोर देना होगा और सामाजिक संतुलन (Social balance) को बदलना होगा। Leftist paradox पिछले दिनों वरिष्ठ पत्रकार संतोष भारतीय (SANTOSH BHARTIYA- Ex …
Read More »यह मनुस्मृति का आधुनिक संस्करण है जो इस बार हिंदुत्व का नाम धर कारपोरेट की गोद में बैठकर आया है
हुआ वही जो होना था ? मगर क्यों हुआ जो नहीं होना था !! बादल सरोज सितम्बर के पहले सप्ताह में हुई जी – 2020 की अखिल भारतीय दाखिला प्रतियोगी परीक्षाओं में वही हुआ जो होना था। पहले दिन की परीक्षाओं में अनुपस्थिति डरावनी थी; करीब आधे ही परीक्षार्थी परीक्षा केंद्रों तक पहंच पाए। बाद के दिनों में भी जहां …
Read More »मुक्तबाजार में धर्मोन्माद का यह नंगा कत्लेआम कार्निवाल है, जिसे राष्ट्रवाद कहा जा रहा है
पलाश विश्वास का यह लेख हस्तक्षेप पर उनकी शृंखला रवींद्र का दलित विमर्श के तहत 12 सितंबर 2017 को प्रकाशित हुआ था। हस्तक्षेप के पाठकों के लिए इस लेख का पुनर्प्रकाशन मैंने जिंदगी से लिखने पढ़ने की आजादी के सिवाय कुछ नहीं मांगा और गांव के घर से अलग कहीं और घर बसाने की नहीं सोची। इसलिए आगे लिखना हो …
Read More »कारपोरेट बकायेदारों से सरकार करे वसूली, बैंकों का निजीकरण जनता के धन की लूट – एस. आर. दारापुरी
लखनऊ, 19 जुलाई 2020, बैंकों के राष्ट्रीयकरण के 51 साल पूरे (51 years of nationalization of banks) होने पर बैंकों के कर्मचारियों की यूनियन द्वारा सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों के बकायेदारों की सूची जारी करने का स्वागत करते हुए ऑल इंडिया पीपुल्स फ्रंट के राष्ट्रीय प्रवक्ता और पूर्व आईजी एस. आर. दारापुरी ने मोदी सरकार से मांग की है कि …
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