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Dangerous: What is the United Nations Agenda ―21 to reduce the world's population and how to implement it?
शोशी हर्स्कू (Shoshi Herscu) की यह रिपोर्ट दिल दहलाने वाली है जिसमें उन्होंने Disclose.tv के हवाले से बताया है कि संयुक्त राष्ट्र संघ की एजेंडा 21 (United Nations Agenda 21) के तहत 2030 और 2050 तक दुनिया की आबादी 95% को कम करने की योजना है।
Agenda 21 is an action plan prepared by the United Nations. | How Is Agenda 21 Being Implemented Worldwide?
एजेंडा 21 संयुक्त राष्ट्र द्वारा तैयार की गई एक कार्य-योजना है और 1992 में रियो डी जनेरियो (ब्राज़ील) में आयोजित संयुक्त राष्ट्र के पर्यावरण और विकास सम्मेलन में 178 देशों की सरकारों द्वारा हस्ताक्षरित है। इसका लक्ष्य―"क्योंकि हम बहुत अधिक हैं और इस ग्रह को बचाने" के रूप में अभिजात वर्ग के विचार के अनुसार आबादी घटाने के लिए दुनिया भर में सरकारों द्वारा लागू किया जाना है।
आपको यह तो मालूम ही होगा कि मार्च 2020 में ही माइक्रोसॉफ्ट ने घोषणा की थी कि बिल गेट्स ने कंपनी के बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स से इस्तीफा दे दिया है और वे अपना ज्यादा समय वैश्विक स्वास्थ्य और शिक्षा के क्षेत्र में लोगों की भलाई के काम में देना चाहते हैं।
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इससे पहले डब्ल्यूएचओ के निदेशक टेड्रोस और बिल गेट्स दोनों 21-24 जनवरी को दावोस में हुई विश्व आर्थिक मंच (वर्ल्ड इकोनॉमिक फोरम―WEF) की बैठक में शामिल हुए थे। इसी बैठक में बिल गेट्स ने अपने 'बिल एंड मिलिंडा गेट्स फाउंडेशन' की अगले 10 वर्षों में $ 10 बिलियन के टीकों की प्रतिबद्धता घोषित की थी।
इसके बाद बिल गेट्स ने 2 अप्रैल को 'फाइनेंशियल टाइम्स' को वायरस पर आधारित ऑनलाइन दिये एक लंबे साक्षात्कार में कहा―
"इसमें कोई संदेह नहीं है, हम जितना हो सकता है, उससे अधिक खरबों डॉलर का भुगतान कर रहे हैं।...... हमारे पास स्टैंडबॉय डायग्नोस्टिक्स होंगे। हमारे पास सघन एंटीवायरल लाइब्रेरी होंगी। हमारे पास होंगे एंटीबॉडी पैमाने। हमारे पास वैक्सीन प्लेटफॉर्म होंगे। हमारे पास अग्रिम चेतावनी सिस्टम होगा। हम वायरस का खेल खेलेंगे। हम जो कर रहे हैं, उसकी तुलना में उन सभी चीजों को अच्छी तरह से करने की लागत बहुत कम है और इसलिए अब लोग महसूस करते हैं कि वास्तव में यह एक सार्थक संभावना है।
(https://www.ft.com/content/13ddacc4-0ae4-4be1-95c5-1a32ab15956a )
इसके अलावा बिल गेट्स ने अपने एक टेडएक्स (TedX) भाषण में विचार व्यक्त करते हुए कहा था―
“आज दुनिया में 6.8 बिलियन लोग हैं। यह आंकड़ा लगभग नौ बिलियन तक बढ़ रहा है। अब अगर हम वास्तव में नए टीके, स्वास्थ्य देखभाल और प्रजनन स्वास्थ्य सेवाओं पर बहुत अच्छा काम करते हैं तो हम शायद इससे 10 या 15 प्रतिशत तक कम कर सकते हैं।” (HumansAreFree.com)
धन ही देवता, धन ही ईश्वर, धन से बड़ा ना कोय―
इस बीच वर्षों तक दुनिया का सबसे अमीर आदमी रहा और अब दूसरे नंबर पर बैठे बिल गेट्स अधिक से अधिक धन इकट्ठा करने के लिए लगातार वॉयरोलॉजी से जुड़ी गतिविधियों में सक्रिय रहते हैं। उनके बिल एंड मेलिंडा गेट्स फाउंडेशन ने विश्व आर्थिक मंच (वर्ल्ड इकोनॉमिक फोरम) के साथ अक्टूबर 2019 में न्यूयॉर्क के जॉन्स हॉपकिन्स सेंटर फॉर हेल्थ सिक्योरिटी द्वारा आयोजित एक इवेंट―201 नामक एक सिमुलेशन एक्सरसाइज की मेजबानी की।
इस आयोजन में एक काल्पनिक 'कोरोनावायरस' जनित महामारी का मॉडल तैयार किया गया और अनुमान लगाया गया कि ऐसी वैश्विक महामारी में दुनियाभर का वित्तीय बाजार और हैल्थ सैक्टर कैसी प्रतिक्रिया देगा और कितने लोगों की जान जा सकती है! यह अक्टूबर 2019 की बात है, जिस दौर में अमेरिका में एन्फ्लुएंजा से 22,000 लोगों की मृत्यु होने की खबर चर्चा में रही है।
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आश्चर्यजनक तो यह है कि यह सिमुलेशन एक्सरसाइज उसी दिन आयोजित की गई, जब चीन के वुहान में CISM वर्ल्ड मिलिटेटी स्पोर्ट्स गेम्स का उद्घाटन हुआ। साथ ही यह भी ज्ञातव्य है कि अमेरिका का जॉन्स हॉपकिन्स संस्थान ही आजकल इस महामारी की सबसे सटीक जानकारी दे रहा है।
एजेंडा―21 को फोर्ड फाउंडेशन और मुस्लिम देशों सहित अन्य द्वारा वित्त पोषित 'न्यू इजरायल फंड' और साथ ही जॉर्ज सोरोस और ऑक्सफेम जैसे ओपेन सोसाइटी फाउंडेशन और गैर-सरकारी संगठनों द्वारा वित्त पोषित किया जाता है।
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संयुक्त राष्ट्र की अपनी वेबसाइट के अनुसार―'यह व्यापक रूप से विश्व स्तर पर संयुक्त राष्ट्र प्रणाली, सरकारों और प्रमुख समूहों के संगठनों द्वारा राष्ट्रीय और स्थानीय स्तर पर हर उस क्षेत्र में, जिसमें मानव व्यवहार व हस्तक्षेप पर्यावरण पर दुष्प्रभाव डालता है, लागू की जाने वाली कार्ययोजना है।'
इस योजना के खतरों से अनजान लोगों को बताने के लिए अथक परिश्रम करने वाली एक कार्यकर्ता और व्याख्याता रोजा कोइरे के अनुसार―"यह योजना हमारे जीवन के हर पक्ष को प्रभावित करती है।"
―श्यामसिंह रावत
(लेखक स्वतंत्र टिप्पणीकार हैं।)
नोट – हालांकि दुनिया भर में विवाद होने पर जॉन्स हॉपकिन्स सेंटर फॉर हेल्थ सिक्योरिटी द्वारा वक्तव्य जारी कर सफाई दी गई कि कोरोना वायरस को लेकर “सेंटर फॉर हेल्थ सिक्योरिटी एंड पार्टनर्स ने हमारे टेबलटॉप अभ्यास के दौरान कोई भविष्यवाणी नहीं की।”